*नगर-ग्रामीण क्षेत्रों में बढ़ते अपराधों के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन*
*कानून-व्यवस्था में सुधार की मांग को लेकर पुलिस अधीक्षक को सौंपा ज्ञापन*
जबलपुर संवाददाता / आज संयुक्त पिछड़ा वर्ग मोर्चा तथा कई अन्य सामाजिक संगठनों के कार्यकर्ताओं ने मंगलवार को नगर एवं ग्रामीण इलाकों में बढ़ते अपराधों, शराबखोरी और रातभर होटल खुले रहने के विरोध में पुलिस अधीक्षक कार्यालय पहुंचकर जोरदार प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि इन्हीं वजहों से शहर में अपराधिक घटनाओं में बढ़ोतरी हुई है और दलित पिछड़े समाज के लोगों के खिलाफ अत्याचार बढ़ रहे हैं
प्रदर्शन का उद्देश्य:प्रदर्शनकारी नगर ग्रामीण क्षेत्रों में कानून व्यवस्था मजबूत करने, अपराधियों पर त्वरित कार्रवाई, शराब के अवैध अड्डों पर रोक लगाने और रात्रि में होटलों के समय से पहले बंद होने की मांग को लेकर पुलिस प्रशासन के समक्ष अपना ज्ञापन सौंपा। उनका कहना है कि हाल की कुछ घटनाओं ने जनप्रतिनिधियों तक की सुरक्षा को प्रश्नचिह्नों के घेरे में खड़ा कर दिया है।
प्रदर्शन का कारण: हाल की चुनिंदा घटनाएं
प्रदर्शनकारियों ने अपने आक्रोश के पीछे पिछले महीनों में घटी कुछ विशिष्ट और गंभीर घटनाओं का हवाला दिया:
जनप्रतिनिधि पर जानलेवा हमला: 16 नवंबर को ग्राम कंदरा खेड़ा (थाना पनागर) में जिला पंचायत सदस्य, किसान及ओबीसी समाज के नेता इंद्र कुमार पटेल पर शराब के नशे में धुत कुछ युवकों ने विकास कार्य के दौरान चाकू से हमला कर दिया। इस घटना में पटेल गंभीर रूप से घायल हो गए।
· नाबालिग की मौत को नहीं मिला न्याय: 18 अक्टूबर से लापता, श्रीनाथ की तलैया (थाना लाडगंज) निवासी एक नाबालिग बच्ची की लाश नरसिंहपुर जिले के साली चौका रेलवे ट्रैक पर बेहद संदिग्ध हालत में बरामद हुई। प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि परिवार को आज तक न्याय नहीं मिला है।
प्रदर्शन में शामिल प्रमुख लोग
इस जनआक्रोश में शहर व ग्रामीण इलाकों के कई गणमान्य लोग एवं समाजसेवी शामिल हुए। इनमें संयुक्त पिछड़ा वर्ग मोर्चा के रामरतन यादव, बैजनाथ कुशवाहा, नोखेलाल प्रजापति, घनश्याम यादव, अखिल भारतीय ओबीसी महासभा के एडवोकेट गया प्रसाद कुशवाहा, एडवोकेट परमानंद साहू, एडवोकेट मनोज चौधरी सहित डॉ. बालमुकुंद यादव, डॉ. दयालचंद यादव, सीताराम पटेल और अनुसूचित जाति/जनजाति संयुक्त मोर्चा के अन्य प्रतिनिधि शामिल थे।
पुलिस से मांगें
प्रदर्शनकारियों ने पुलिस प्रशासन से निम्नलिखित मुख्य मांगें रखीं:
1. नगर व ग्रामीण दोनों इलाकों में पुलिस पेट्रोलिंग बढ़ाई जाए।
2. शराबखोरी के अवैध अड्डों और रातभर खुले रहने वाले होटलों पर तत्काल प्रतिबंध लगे।
3. दलित及पिछड़े वर्गों के खिलाफ हो रहे अत्याचारों पर रोकथाम के लिए विशेष कार्ययोजना बनाई जाए।
4. इंद्र कुमार पटेल पर हुए हमले और नाबालिग बच्ची की मौत जैसे मामलों में दोषियों के खिलाफ शीघ्र व सख्त कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
इस प्रदर्शन के माध्यम से नागरिकों ने प्रशासन के समक्ष यह स्पष्ट संदेश दिया है कि अब उन्हें अपनी सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता होने लगी है और वह कानून-व्यवस्था में सुधार की मांग को लेकर अब सड़क पर उतर आए हैं।